रायपुर : लोन का झांसा देकर आईफोन ठगने वाला शातिर गिरफ्तार, 15 लाख के 16 फोन जब्त


रायपुर। रायपुर पुलिस ने एक बड़े और अनोखे धोखाधड़ी के मामले का पर्दाफाश करते हुए एक ऐसे शातिर ठग को गिरफ्तार किया है, जो जरूरतमंद लोगों को लोन दिलाने का झांसा देकर उनके नाम पर महंगे आईफोन फाइनेंस कराता और फिर फोन लेकर चंपत हो जाता था। इस तरह आरोपी पीड़ितों को दोहरी मार देता था – एक तो उन्हें कोई लोन नहीं मिलता था, और दूसरा उन्हें उस फोन की महंगी किस्तें चुकानी पड़ती थीं जो उनके पास होता ही नहीं था।
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आरोपी की पहचान सिमरन जीत सिंह अजमानी उर्फ लवली (31 वर्ष), निवासी महावीर नगर, रायपुर के रूप में हुई है। पुलिस ने उसके कब्जे से करीब 15 लाख रुपये कीमत के 16 ब्रांड न्यू आईफोन बरामद किए हैं।


इस तरह देता था ठगी को अंजाम
पुलिस के अनुसार, आरोपी सिमरन जीत का ठगी का तरीका बेहद शातिराना था। वह ऐसे लोगों को निशाना बनाता था जिन्हें पैसों की तत्काल आवश्यकता होती थी। वह उन्हें 1 लाख रुपये या उससे अधिक का पर्सनल लोन तुरंत पास कराने का वादा करता था। इसके लिए वह एक शर्त रखता था कि लोन प्रक्रिया के तहत पीड़ित को अपने नाम पर एक महंगा मोबाइल फोन, खासकर आईफोन, फाइनेंस कराना होगा।
पीड़ित जब उसकी बातों में आकर मोबाइल दुकान पर फाइनेंस फॉर्म भर देते और फोन उनके नाम पर जारी हो जाता, तो आरोपी प्रक्रिया पूरी होने का बहाना बनाकर फोटो खिंचवाता और फोन अपने पास रख लेता। वह पीड़ितों को आश्वासन देता कि कुछ ही दिनों में उनके खाते में लोन की रकम आ जाएगी और फोन भी मिल जाएगा। इसके बाद वह टालमटोल शुरू कर देता और अंततः अपना मोबाइल बंद कर गायब हो जाता। इस बीच, फाइनेंस कंपनी की किस्तें सीधे पीड़ित के बैंक खाते से कटने लगती थीं।
एक पीड़िता की शिकायत से हुआ पर्दाफाश
मामले का खुलासा तब हुआ जब कचना निवासी प्रार्थिया महेश्वरी फुटान ने गोलबाजार थाने में धोखाधड़ी की रिपोर्ट दर्ज कराई। महेश्वरी ने पुलिस को बताया कि आरोपी सिमरन जीत ने उसे लोन का लालच देकर पहले लाल गंगा शॉपिंग मॉल और फिर भाटागांव स्थित क्रोमा स्टोर से दो मोबाइल फोन फाइनेंस कराए। दोनों ही बार फोन आरोपी ने अपने पास रख लिए। जब हफ्तों तक लोन का पैसा नहीं आया और आरोपी टालमटोल करने लगा, तो महेश्वरी ने लोन कैंसिल करने को कहा। इस पर आरोपी ने उसे धमकाते हुए कहा, “तुम मेरा कुछ नहीं कर सकती” और अपना फोन बंद कर लिया। इस दौरान महेश्वरी को बिना फोन मिले ही 5,000 रुपये की पहली किस्त चुकानी पड़ी।
पुलिस ने जाल बिछाकर दबोचा
मामले की गंभीरता को देखते हुए वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक डॉ. लाल उमेद सिंह ने अतिरिक्त पुलिस अधीक्षकों और एण्टी क्राईम एण्ड साईबर यूनिट को तत्काल कार्रवाई के निर्देश दिए। एण्टी क्राईम यूनिट और थाना गोलबाजार की एक संयुक्त टीम का गठन किया गया। आरोपी बेहद चालाक था और लगातार अपनी लोकेशन बदलकर पुलिस को चकमा दे रहा था। लेकिन तकनीकी विश्लेषण और मुखबिर से मिली पुख्ता सूचना के आधार पर टीम ने आरोपी सिमरन जीत सिंह अजमानी को धर दबोचा।
पूछताछ में आरोपी ने अपना जुर्म कबूल कर लिया और बताया कि उसने प्रार्थिया समेत कई अन्य लोगों को इसी तरह अपने जाल में फंसाया है। पुलिस ने उसकी निशानदेही पर ठगी के 16 आईफोन जब्त किए। आरोपी के खिलाफ थाना गोलबाजार में भारतीय न्याय संहिता (B.N.S.) की धारा 318(4) के तहत अपराध क्रमांक 114/25 दर्ज कर उसे गिरफ्तार कर लिया गया है। पुलिस ने बताया कि शहर के अन्य थानों में भी आरोपी के खिलाफ इसी तरह की ठगी की शिकायतें मिली हैं, जिन पर भी प्राथमिकी दर्ज कर कार्रवाई की जा रही है।