धरसींवा के सिलतरा स्थित ग्रीन पेट्रो में शुक्रवार की शाम पांच बजे डीजल आयल टैंक फटने से हड़कंप मच गया। इस दौरान ग्रीन पेट्रो में काम कर रहे कर्मचारियों में अफरा-तफरी मच गई। डिपो में काम कर रहे मजदूर किसी तरह अपनी जान बचाकर वहां से निकलने में सफल रहे
आग की सूचना मिलते ही रायपुर, बिरगांव नगर निगम और आसपास की फैक्ट्रियों के फायर ब्रिगेड की टीम मौके पर पहुंचकर आग पर काबू पाने में जुटी थी। रात साढ़े दस बजे तक आग पर काबू नहीं पाया जा सका। घटना स्थल पर रायपुर ग्रामीण के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक तारकेश्वर पटेल और धरसींवा थाना प्रभारी भी दल-बल के साथ मौके पर पहुंच गए थे।
पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार ग्रीन पेट्रो में ग्रीन पेट्रोल बनाने का काम है। यह फर्नेश आयल का विकल्प है। सिलतरा स्थित आसपास के औद्योगिक क्षेत्र में सप्लाई करते हैं। शुक्रवार की शाम पांच बजे ग्रीन पेट्रो में लिक्विड डीजल आयल की करीब पांच गाड़ियां खड़ी थीं। अचानक एक टैंकर में विस्फोट हो गया। फिस्फोट होते ही धीरे-धीरे आग चारों तरफ फैलने लगी।
आग को बेकाबू होते देखकर वहां मौजूद कर्मचारियों ने किसी तरह अपनी जान बचाकर रायपुर फायर कंट्रोल रूम में शाम 5.35 पर आयल टैंकर में विस्फोट होने की सूचना दी। फायर ब्रिगेड की टीम सूचना मिलते ही दो टैंकर के साथ घटना स्थल पर रवाना की गई, लेकिन आग बढ़ रही थी और एक-एक कर डीजल टैंकर में विस्फोट हो रहा था। देर शाम खबर लिखे जाने तक चार टैंकर में विस्फोट हुआ। आग पर काबू पाने के लिए करीब दौ सौ टैंकर पानी लग चुका था।
फैक्ट्री से लगे गांव को कराया खाली
फैक्ट्री से सटे स्कूल पारा के निवासियों ने बताया कि टैंकर में ब्लास्ट होने से आग काफी ऊपर तक उठ रही थी, इसलिए गांव को खाली कराकर बगल के गांव में शिफ्ट करा दिया, ताकि किसी प्रकार की अनहोनी न हो। घटना स्थल पर पुलिस की टीम मौजूद थी। फैक्ट्री के आसपास किसी को फटकने नहीं दिया जा रहा था। आग पर काबू पाने के लिए भिलाई से भी फायर ब्रिगेड की टीम की मदद लेनी पड़ी।